कोलकाता ६ नवम्बर 2016 । विप्र फाउण्डेशन और राजस्थान ब्राह्मण संघ के तत्वावधान में हिमालयी व्यक्तित्व और ब्राह्मण समाज के शलाका पुरुष श्री बनवारीलाल सोती का जन्मदिन राजस्थान ब्राह्मण संघ के कार्यालय, 14 शोभाराम बैसाक स्ट्रीट, कोलकाता में मनाया गया। विप्र फ़ाउण्डेशन के राष्ट्रीय अध्यक्ष श्रद्धेय श्री बनवारीलालजी सोती का आज ६९वाँ जन्म दिवस है। ६ नवम्बर १९४७ को राजस्थान के चूरू में पं०केदारमल सोती के घर आपका जन्म हुआ। छह वर्ष की उम्र में ही आपके सर से पिता का साया उठ गया। गाँव छोड़कर कोलकाता आना पड़ा। यहां आकर शिक्षा ग्रहण करने के उपरान्त आप आजीविका के लिये ट्रांसपोर्ट कारपोरेशन ऑफ इंडिया में कार्य करने लगे। कड़ी मेहनत और ईमानदारी, इन दो खास गुणों के बदौलत आपने व्यवसाय में पूर्ण दक्षता हासिल कर ली। कठिनाइयों में या यूँ कहें कि अभाव में जी कर भी कभी आपने निष्ठा तथा स्वाभिमान के साथ समझौता नहीं किया। इंसान पहले खपता है, तपता है तभी वह अपने बनाये नये पथ का सृजक बन पाता है। कुछ ऐसे ज्योतिधर व्यक्तित्व होते हैं जो अपने पौरुष के बल पर अपनी अलग पहचान बना लेते हैं। वर्ष १९७२ में नौकरी से त्यागपत्र देकर श्री बनवारीलाल जी सोती और इनके दो अनन्य मित्रों ने मिलकर अपनी स्वयं की ट्रांसपोर्ट कम्पनी *एसोसिएटेड रोड कैरियर्स लि०* की स्थापना की। एक शेयर है- कौन कहता है आसमाँ में छेद नहीं हो सकता, एक पत्थर तो तबीयत से उछालो यारों। आपने काम को अपना धर्म मानकर और सर्व-उत्कर्ष की भावना के साथ शुरू किया तो ईश्वर ने भी खूब आशीर्वाद बनाए रखा है। आज यह ट्रांसपोर्ट ३६२ शहरों में ६२५ शाखाओं के द्वारा सालाना १३०० करोड़ का व्यापार करते हुए देश की दूसरी सबसे बड़ी ट्रांसपोर्ट बन गई है। प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष रूप से लगभग १०००० लोगों को रोजगार उपलब्ध करवाने वाले श्री सोती जी इस ट्रांसपोर्ट के अलावा भी ट्रान्स एक्सप्रेस लॉजिस्टिक प्रा०लि० नामक एक और ट्रांसपोर्ट से संलग्न है। “खुद के लिए जीते हैं सभी सुबह और शाम, किसी के काम जो आ जाए, जीना है बस इसी का नाम”। श्री बनवारीलाल जी सोती शिक्षा, चिकित्सा, संस्कृति तथा गौ सेवा के क्षेत्र में हिमालयी कार्य कर रहे हैं। अपनी जन्मभूमि राजस्थान, कर्मभूमि कोलकाता सहित पूरे भारत में सेवा कार्यों के फलस्वरूप आपकी कीर्ति पताका गगनचुम्बी ऊंचाइयों पर लहरा रही है। अबतक आप द्वारा हज़ारों लोगों की नेत्र एवं स्वास्थ्य चिकित्सा, रक्त संग्रह, पोलियो ऑपरेशन, दन्त चिकित्सा, कृत्रिम अंग वितरण, असंख्य गौशालाओं में शेड निर्माण की लम्बी फेहरिस्त है। प्राकृतिक आपदाओं पर सरकारी राहत कोषों में अनुदान में भी आपका अग्रणी नाम है। चूरू में सोती भवन, केशरदेवी सोती उच्च माध्यमिक आदर्श विद्या मंदिर, मेघवाल सामुदायिक भवन, देवालय निर्माण के साथ शैक्षणिक, सामाजिक, धार्मिक जैसे कार्यों ने आपको महामानव तुल्य बना दिया है। देश भर की पाँच सौ से अधिक संस्थाओं को आपने अपनी गाढ़ी कमाई से सिंचन प्रदान कर पुष्पित पल्लवित किया है। कोलकाता में एक सौ तीन वर्ष पुरानी व प्रतिष्ठित संस्थान श्री विशुद्धानन्द हॉस्पिटल के आप वर्तमान में अध्यक्ष हैं। चूरू गर्ल्स कॉलेज व पिंजरापोल के आप ट्रस्टी हैं। देश भर में विप्र समाज के असंख्य प्रकल्पों को आपका विनम्र सहयोग निरन्तर प्राप्त होता रहता है। ब्राह्मण समाज के साथ अन्य सभी समाज में आपकी प्रतिष्ठा अवर्णनीय है। आपके सेवा कार्यों को शब्दों की सीमा में बांधना मुश्किल ही नहीं असम्भव है। आप स्वाभिमान, स्पष्टवादिता, मित्रधर्म निर्वहन के उज्ज्वल एवं दैदीप्यमान नक्षत्र हैं। विराट व्यक्तित्व के धनी श्री सोतीजी प्रशंसा एवं गुरुर से कोसों दूर हैं। आपकी सहजता दुर्लभ है। फिजूलखर्ची से परहेज तथा समाज को सर्वोपरि मानने वाले सोतीजी समरसता के प्रतीक हैं। सोतीजी का मानना है कि जीवन की असीम बुलंदियों का कोई मोल नहीं यदि यह श्रेष्ठता स्वयं तक ही सीमित होकर रह जाए। श्री बनवारीलालजी की मातृ भक्ति प्रणम्य है। उम्र के इस पड़ाव पर भी आप मातुश्री केशरदेवी सोती के आदेश से ही अग्रसर होते हैं। धर्मपत्नी श्रीमती सतभामा शर्मा पार्वती स्वरूपा है। आपकी सरलता, दानवीरता अतुलनीय है। आपके तीन पुत्र-पुत्रवधु चि०शंकर सौ० मीनाक्षि, चि०त्रिलोचन सौ०विशाखा एवं चि०गिरीश सौ०सलोनी व्यापार एवं गृहस्थ के दायित्व का सफल निर्वहन कर रहे हैं। आपकी इकलौती पुत्री सौ०उमा का विवाह जयपुर के चिरंजीवी श्री जितेन्द्रजी के साथ हुआ है। अभी कुछ दिनों पूर्व सोतीजी भाईसाहब ने कोलकाता में विप्र फ़ाउंडेशन के कार्यालय, अतिथि गृह एवं कौशल विकास केन्द्र निर्माण हेतु ५१ लाख का चेक समर्पित किया था।आपके परिवार के सभी ११ सदस्यों के नाम से विप्र शिक्षा निधि में समर्पण किया गया है। सारथी कैरियर सेंटर्स का चूरु केन्द्र आपके सौजन्य से ही चल रहा है। और आज जन्मदिवस के शुभ अवसर पर दैवीय गुणों से ओतप्रोत श्रेष्ठ मानवता की प्रतिमूर्ति आदरणीय श्री बनवारीलालजी सोती ने शिक्षा निधि में एक लाख की धन राशि समर्पित की है तथा उनके परिवार की ओर से उन्हें उनके प्रिय उपहार स्वरूप विप्र शिक्षा निधि में १ लाख की राशि सादर भेंट की है। विप्र फ़ाउंडेशन परिवार आपके दीर्घायु, आरोग्य, ऐश्वर्य एवं परम यश की कामना करता है।
आपको शत-शत प्रणाम एवं बधाई।